गुप्त रूप से देश में एक साजिश को अंजाम दिया जा रहा है और वो साजिश है सिर्फ कट्टर हिन्दू वादी विचारधार को बढ़ावा देना और इस देश को धर्म निरपेक्ष नही बल्कि हिन्दू राष्ट्र बनाना। 

जिसके अंतर्गत टेली विज़न और फिल्मों के द्वारा ज़्यादा से ज़्यादा से हिन्दू धार्मिक कंटैंट को प्रसारित करना । कट्टर हिन्दू सोच रखने वाले नेताओं को राज्यों में नियुक्त करना । कोई बड़ी घटना हो जैसे कोई हथियार देश मे आना इस तरह के प्रोग्राम मे पुजा आरती करना वगैरह। और भी कई बातें हैं जो आम जनता की निगाह मे नहीं आती लेकिन गुप्त रूप से चल रही हैं । 

देश में ऐसी विचारधारा को लोगों के दिमागों में बैठा दिया गया है की आज देश के बच्चे और नौजवान अपने भविष्य को लेकर चिंतित नही हैं पर इस बात से चिंतित हैं की हिन्दू धर्म खतरे मे है और ये खतरा भाजपा के सत्ता में आने के बाद ही शुरू हुआ है। भाजपा अपनी नाकामियो को छुपाने के लिए देश की जनता को सोची समझी साजिश के तहत कट्टरवाद की ओर झोंक रही है। 

हाँ ये ठीक है की भाजपा ने देश के हित मे अछे फैसले लिए हैं और इसके लिए मैं भाजपा और नरेंद्र मोदी का ज़बरदस्त समर्थक रहा भी हूँ लेकिन अब पता चला की ये सब भाजपा ने सिर्फ जनता के भरोसे को जीतने के लिए किया था ताकि बाद में ये अपने सीक्रेट अजेंडा को पूरा कर सकें। 

अब मैं पूछता हूँ की अगर ये देश धर्म निरपेक्ष है और आप सभी धर्मो को एक ही नज़र से देखते हैं तो सिर्फ पुजा क्यो करते हैं और ईसाई तरीके से प्रार्थना और इस्लाम के तरीके से नमाज़ और बाकी सभी धर्मो के तरीके से क्यो नही चलते ये पक्षपात क्यो। 

और अगर अप बाकी धर्मो के तरीके से नही चल सकते तो पुजा भी मत करो। अगर भविष्य में कोई मुस्लिम या ईसाई प्रधान मंत्री आता है और वो सिर्फ नमाज़ या प्रार्थना करता है तो क्या आपको स्वीकार होगा। ज़ाहिर बात है नही होगा। 

भाजपा के द्वारा ये कह कर CAA लाया गया की पाकिस्तान में ईसाई  जोकि अल्प संख्यक है उनके साथ ज़ुल्म हो रहा है लेकिन मे आपको बताना चाहता हूँ की जितना ज़ुल्म इसाइयों के साथ भारत में हो रहा है उतना पाकिस्तान में भी नही है। रोज़ इस देश ईसाई पादरियों को मारा जा रहा है 

फर्क सिर्फ इतना है पाकिस्तान में इसाइयों के विरुद्ध जो घटनाएँ होती है वो मीडिया मे आ जाती हैं लेकिंग जो घनाएँ भारत में होती हैं यहाँ का मीडिया उन्हें दिखाता नहीं है क्योंकि उनके चैनल तो एक कट्टर हिन्दू वादी राजनीतिक पार्टी के द्वारा दिये गए खर्चे पर चल रहे हैं । 

इस देश में ईसाई समुदाय के विरुद्ध भी बोहुत बड़ी साजिश चल रही है । और उस साजिश के अंतर्गत ईसाई समुदाय के प्रचार के कार्य को रोकना इसाइयों को डरना धमकाना उनके दिल मे दहशत पैदा करना और उनकी हत्या करना और चर्च को जालना इस तरह की घटनाएँ शामिल हैं। 

आप कहते हो की ईसाई मिशनरियाँ भारत में ईसाई धर्म को फैला रहा हैं और ईसाई धर्म एक गंदा धर्म है तो मैं पूछता हूँ अगर ईसाई धर्म गंदा है तो इसका फैसला जनता को खुद क्यों नही करने देते हो ? आप तो जनता से उनका अपने चुनवा खुद करने का अधिकार भी छीन लेना चाहते हो और एक तानाशाह की तरह सिर्फ वो कनवाना चाहते हो जो आप चाहते हो या जो आपको अच्छा लगता है । 

और जहां तक रही बात प्रचार करने की तो क्या हिन्दू धर्म का प्रचार बाहरी देशों में नही हो रहा । बल्कि ज़ोर शोर से हो रहा है । एक विदेशी जब हिन्दू धर्म अपनाता है तो यहाँ उसका खूब ढिंडोरा पिता जाता है जैसे युद्ध जीत लिया हो वहीं एक हिन्दू जब ईसाई धर्म को अपनाता है उसे डराया जाता है धमकाया जाता है गलिया दी जाती है ये कैसा दोगला पैन है ?

चलो मान भी लिया की भारत को एक हिन्दू राष्ट्र बनाना चाहते हो और बाकी देशों को भी तो क्या आप हिन्दू धर्म में जो कुरीतियाँ है उनको हटाओगे ? क्योंकि हिन्दू धर्म में तो इंसान सिर्फ ऊंची जाती के लोगों को ही समझा है।  नीची जाती के लोगों को तो आपके मंदिरों में प्रवेश करने की भी अनुमति हैं। इसके इलवा जितनी भी कुरीतियाँ है क्या अप उनको हटाओगे ? सभी जानते हैं की न अप हटाओगे और न अप हटा सकते हो ? तो फिर क्यों ज़बरदस्ती अपनी सोच को जन सदारण पर थोपना चाहते हो ?  

इसलिए ये देश धर्म निरपेक्ष है इसे ऐसे ही रहने दो और कोई भी धर्म हो कोई भी पंथ हो उनको प्रचार करने दो क्योंकि जनता को अधिकार होना चाहिए अपने चुनाव खुद करने का।